पाचन की समस्या शरीर के लिए एक आम समस्या होती है. इसमें दिल से जुड़ी बीमारियां कब्ज के चलते हो सकती है घातक परिणाम. तो आईए जानते हैं कब्ज के जरिए दिल की बीमारियां कैसे नुकसान दे हो सकती हैं. अक्सर कब्ज के बाद ब्लड प्रेशर बढ़ने का खतरा बना रहता है जिस दिल की बीमारी होने का खसरा हो सकता है.
आजकल के समय में दिल की बीमारियां काम हो गई हैं अगर कब्ज सर्दियों में हो जाए तो मेरे दिल की बीमारी के लिए भी खतरनाक रहता है.
केवल कोलेस्ट्रॉल को बैलेंस करके ही नहीं आप आप दिल की बीमारी को रोक नहीं सकते.
दिल की बीमारी से बचने के लिए शरीर की इम्युनिटी मजबूत होनी चाहिए और गट हेल्थ भी मजबूत होने चाहिए. तभी आप अपने शरीर को सुरक्षित रखने में सक्षम हो सकते हैं.
सर्दियों में कब्ज वह दिल की बीमारियों अधिक होने की संभावना रहती है. जब बाल त्यागने में दिक्कत हो तब ही माना जाता है कि कब्ज हो गया है, माल त्यागते समय दर्द होने की समस्या सामने आ रही है यह पाचन की दिक्कत को तो दर्शाता ही है बल्कि दिल की समस्या दिल की स्थिति को भी गंभीर कर देता है.
दिल की समस्याओं को बढ़ाने में कब्ज जिम्मेदार कैसे हैं
– जब कब जो होता है तो मल त्यागने में दर्द जैसी समस्याएं होने लगती है वह ब्लड प्रेशर भी बढ़ने लगता है जिस दिल की बीमारियां होने का खतरा रहता है. आरट्री फटने की समस्या, ब्लड क्लॉटिंग जिससे हार्ट अटैक,स्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता हैं. कई बार गैस बनने स दिक्कत पैदा होती है. इसे स्ट्रोक समझ के लोग अक्सर डर जाते हैं.
आईए जानते हैं कब्ज से कैसे बचा जा सकता है
– योग व व्यायाम डेली रूटीन में कम से कम 20 मिनट जरूर करें जिससे बहुत सी बीमारियां शरीर से दूर रहेगी.
– शरीर की गट्स हेल्थ के लिए जमीन वह एक्सरसाइज जरूर करें इससे आपका शरीर तंदुरुस्त रहेगा. इससे कब्ज की बीमारी भी नहीं हो पाएगी.
– हेल्दी डाइट ले जिसमे फाइबर वह प्रोटीन युक्त सब्जियों व फल खाएं जिससे डाइजेशन में इंस्टेंटटाइन को कोई भी दिक्कत ना हो वह खान जल्द और आराम से बच जाए.
– पानी भरपूर मात्रा में पिए दिन में काम से कम 5 से 6 लीटर पानी जरूर पिएं. पानी कम पीने की वजह से माल सूख जाता है जिससे माल कोलन में सही से घूम नहीं पता इसलिए कब्ज की समस्या गंभीर हो जाती है. पानी का प्रयोग जरूरी है.